विकास के एनकाउंटर पर मप्र में सियासत / दिग्विजय के आरोप- जिसका शक था वह हो गया, कई राजों पर पर्दा डालने किया गया, सीबीआई जांच होना चाहिए
- यह पता लगाना आवश्यक है विकास दुबे ने मध्यप्रदेश के उज्जैन महाकाल मंदिर को सरेंडर के लिए क्यों चुना?
- मध्मयप्रदेश के एक निजी सुरक्षा गार्ड ने जिसे पकड़ लिया, वो यूपी एसटीएफ के हथियार छीनकर भाग रहा था।
भोपाल. उत्तरप्रदेश के कुख्यात बदमाश विकास दुबे का आज सुबह कानपुर के पास एनकाउंटर हो गया। उसके मारे जाते ही मध्यप्रदेश की राजनीति में फिर से घमासान मच गया है। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने एक बार फिर सरकार और मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान पर निशाना साधते हुए आरोप लगाते हुए कहा- जिसका शक था वह हो गया। अब राजनीतिक राज पर पर्दा डालने का प्रयास किया जा रहा है। उसके सरेंडर से लेकर एनकाउंटर तक की कार्रवाई संदेह के घेरे में है। उसकी सीबीआई जांच होनी ही चाहिए।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अब तक कुछ नहीं कहा-
यूपी से फरार बदमाश विकास दुबे के उज्जैन में पकड़े जाते ही मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सबसे पहले ट्वीट करते हुए उज्जैन पुलिस को बधाई दी थी। बाद में शिवराज ने बयान जारी कर कहा था कि वे यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और यूपी पुलिस के संपर्क में हैं। आरोपी को उनके हवाले कर दिया जाएगा। एनकाउंटर के बाद न तो शिवराज और ही मध्यप्रदेश भाजपा की ओर से कोई बयान जारी किया गया। इतना ही नहीं अब तक भाजपा के किसी भी नेता ने इसको लेकर कुछ नहीं कहा है। यूपी एसटीएफ की पुलिस मध्यप्रदेश के गुना बार्डर से अपने साथ विकास को गुरुवार शाम लेकर रवाना हो गई थी। शुक्रवार सुबह करीब साढ़े 7 बजे उसे गंभीर हालत में कानपुर के पास एक अस्पताल ले जाया गया। उसकी कमर में गोली लगी थी। पुलिस ने बताया कि पुलिस से हथियार छीनते हुए भागते समय एनकाउंटर में वह घायल हो गया। अस्पताल में उसकी मौत हो गई।
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